शीत ऋतु में गौवंशों के बचाव हेतु जिलाधिकारी ने निर्गत किये निर्देश

गौआश्रय स्थलों में शेड को जूट के बोरे/तिरपाल से किया जाए कवर-जिलाधिकारी

बरेली । जिलाधिकारी रविन्द्र कुमार ने समस्त खंड विकास अधिकारी/अधिशासी अधिकारी नगर पालिका परिषद/नगर पंचायत को निर्देशित किया है कि शीत ऋतु प्रारंभ हो गई है और ऐसे में गौआश्रम स्थलों में संरक्षित गौवंश को ठंड से बचाएं जाना अति आवश्यक है, शीत ऋतु में किसी गौवंश के साथ कोई अप्रिय स्थिति उत्पन्न न हो।

जिलाधिकारी ने निर्देश दिये कि गौवंशों को ठंड से बचाने के लिए गौआश्रय स्थलों में शीतलहर के प्रभाव को रोकने के लिए शेड को जूट के बोरे/तिरपाल से कवर किया जाए। गौवंश को जूट के बोरे के झूल का उपयोग कराकर ठंड से बचाया जाए व अलाव की व्यवस्था भी की जाए। शीत ऋतु में संभावित वर्षा के दृष्टिगत स्थल पर जलभराव न हो, गौवंश शेड जलभराव से प्रभावित न हो तथा जल निकासी की समुचित व्यवस्था की जाए। वृद्ध, अशक्त व नवजात गौवंश पर विशेष ध्यान दिया जाये, जिसके लिए विशेष व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। गौआश्रय स्थलों में बिछावन हेतु पराली/लकड़ी बुरादा, गन्ने की खोई का उपयोग किया जाए। रात के समय गौवंशों को खुले स्थान पर न रहे और दिन में पर्याप्त धूप में रखा जाए।

गौआश्रय स्थलों की पर्याप्त साफ-सफाई सुनिश्चित की जाए और समय-समय पर बिछावन को बदला जाए। इसके साथ ही साथ खाने एवं पीने हेतु चरही की समुचित साफ-सफाई की जाए। गौवंश आश्रय स्थलों पर पर्याप्त मात्रा में भूसा/पराली, हरा चारा, दाना आदि के साथ-साथ गुड़, पीने हेतु स्वच्छ/ताजे पानी की व्यवस्था की जाये। गौवंशों की निगरानी/सुरक्षा हेतु चौकीदार/केयरटेकर की व्यवस्था, गौवंशों का समय-समय पर स्वास्थ्य परीक्षण भी किया जाए।