स्वास्थ्य को बनाए रखना है तो समाज को पुनः आयुर्वेद का रुख करना होगा

डॉ. शीलेंद्र गुप्ता ने कहा कि कोविड 19 एक वायरस से होने वाली संक्रामक बीमारी है

बरेली । एस आर एम राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय बरेली में विगत दिनाँक 22 नबम्बर से बैच 2023 के छात्र/छात्राओं के लिए ट्रांजिशनल क्युरीकुलम कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। कार्यक्रम के छठे दिन राजकीय आयुर्वेदिक कॉलेज पीलीभीत से आए डॉ अरविंद गुप्ता ने वर्तमान में व्याप्त स्वास्थ्य चुनौतियों को उजागर किया। उन्होंने कहा कि यदि स्वास्थ्य को बनाए रखना है तो समाज को पुनः आयुर्वेद का रुख करना होगा। प्रोफेसर योगेश कुमार ने बताया कि आयुर्वेद एवं स्वास्थ्य एक दूसरे के पूरक है, यदि आयुर्वेद में बताए सिद्धांतो का पालन समुचित रूप से किया जाए तो स्वास्थ्य को चिरकाल तक निरंतर बनाए रखा जा सकता है।

स्वास्थ्य को बनाए रखना है तो समाज को पुनः आयुर्वेद का रुख करना होगा
स्वास्थ्य को बनाए रखना है तो समाज को पुनः आयुर्वेद का रुख करना होगा

प्रोफेसर रीता गुप्ता ने बताया कि एक पद्धति के ज्ञाता को अन्य पद्धतियों का कार्यसाधक ज्ञान होना भी आवश्यक है तभी एक चिकित्सक सापेक्ष रूप से जनमानस को उचित स्वास्थ्य लाभ पहुंचा सकता है। डॉ.अजय कुमार यादव ने मानसिक स्वास्थ्य पर चर्चा की उन्होंने बताया कि वर्तमान में छात्र/छात्राओं में प्रतिस्पर्धा के कारण तनाव एवं अवसाद की स्थिति बनी रहती है, इसीलिए आयुर्वेद में वर्णित जीवनशैली में परिवर्तन, सद्वृत का पालन एवं मेध्य रसायन का प्रयोग करने से एक सीमा तक तनाव एवं अवसाद से बचा जा सकता है। डॉ. जितेंद्र कुमार ने बताया कि आजकल सोशल मीडिया पर अधिक संलग्न रहने के कारण सभी लोग नेत्र रोगों के शिकार होते जा रहे है।इसके निराकरण के लिए आयुर्वेद एवं आयुर्वेदिक चिकित्सा अहम भूमिका हो सकती है। डॉ. शीलेंद्र गुप्ता ने कहा कि कोविड 19 एक वायरस से होने वाली संक्रामक बीमारी है जिसमें आयुर्वेदिक चिकित्सा एक मील का पत्थर साबित हो सकता है।सभी को अपना व्याधिक्षमत्व को बढ़ने के लिए आयुर्वेद के योगों एवं आचार रसायन का पालन निरंतर करना चाहिए। कार्यक्रम का संचालन डा. दीपक आहूजा ने किया एवं अंत में सभी वक्ताओं का धन्यवाद ज्ञापन डॉ. संतोष कुमार द्वारा किया गया।