नई दिल्ली: कांग्रेस नेता गौरव वल्लभ ने गुरुवार (4 अप्रैल) सुबह ही पार्टी से इस्तीफा दे दिया। इसके बाद वे दिल्ली में भारतीय जनता पार्टी के मुख्यालय पहुंचे और पार्टी में शामिल हो गए। इससे पहले उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी आज जिस प्रकार से दिशाहीन होकर आगे बढ़ रही है, उसमें मैं खुद को सहज महसूस नहीं कर पा रहा।
गौरव वल्लभ ने कहा कि मेरे से यह नहीं होगा कि जब सनातन धर्म को गाली दी जाए और मैं चुप बैठ जाऊं। कांग्रेस पार्टी के नेताओं ने, उनके सहयोगियों ने सनातन धर्म पर बड़े-बड़े सवाल उठाए, उनका जवाब क्यों नहीं दिया गया? इसलिए मैं कांग्रेस पार्टी के सभी पदों व प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे रहा हूं। उन्होंने कहा कि आज मैं भाजपा में शामिल हुआ और मुझे उम्मीद है कि मैं अपनी योग्यता, ज्ञान का प्रयोग भारत को आगे ले जाने में करूंगा।
कांग्रेस पार्टी आज जिस प्रकार से दिशाहीन होकर आगे बढ़ रही है,उसमें मैं ख़ुद को सहज महसूस नहीं कर पा रहा.मैं ना तो सनातन विरोधी नारे लगा सकता हूं और ना ही सुबह-शाम देश के वेल्थ क्रिएटर्स को गाली दे सकता.इसलिए मैं कांग्रेस पार्टी के सभी पदों व प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफ़ा दे रहाहूं pic.twitter.com/Xp9nFO80I6
— Prof. Gourav Vallabh (@GouravVallabh) April 4, 2024
2019 में पहली बार चुनाव लड़े थे गौरव वल्लभ
भाजपा में शामिल हुए गौरव वल्लभ ने पिछले साल अशोक गहलोत और सचिन पायलट विवादों में भी खुलकर सामने आए थे। उन्होंने अशोक के समर्थन में बयान दिए थे। साल 2022 में उन्होंने मल्लिकार्जुन खड़गे को संभाला था। वे 2023 में राजस्थान विधानसभा चुनाव में उदयपुर सीट से मैदान में उतरे थे। हालांकि, बीजेपी उम्मीदवार से हार का सामना करना पड़ा था। गौरव वल्लभ ने 2019 में झारखंड के जमशेदपुर पूर्व से पहली बार चुनाव लड़ा था।