लखनऊ: यूपी में 22 जुलाई से शुरू होने वाली कांवड़ यात्रा से पहले मुजफ्फरनगर जिले में खाने-पीने और फल की दुकानें लगाने वाले दुकानदारों ने अपने-अपने नाम लिखकर टांग लिए हैं। दरअसल, पुलिस ने कांवड़ रूट पर पड़ने वाले सभी दुकानदारों को निर्देश दिया था कि वो अपनी-अपनी दुकानों पर प्रोपराइटर या फिर काम करने वालों का नाम जरूर लिखें, जिससे कांवड़ियों में किसी प्रकार का कोई कंफ्यूजन न हो।
मुजफ्फरनगर पुलिस के निर्देश को सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सामाजिक अपराध बताया है। गुरुवार को उन्होंने सोशल मीडिया ‘एक्स’ पर पोस्ट करते हुए कहा कि कोर्ट को ऐसे मामलों का स्वत: संज्ञान लेना चाहिए और जांच करवाकर दंडात्मक कार्रवाई करनी चाहिए। अखिलेश ने कहा कि ऐसे आदेश सौहार्द के शांतिपूर्ण वातावरण को बिगाड़ना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि … और जिसका नाम गुड्डू, मुन्ना, छोटू या फत्ते है, उसके नाम से क्या पता चलेगा?
… और जिसका नाम गुड्डू, मुन्ना, छोटू या फत्ते है, उसके नाम से क्या पता चलेगा?
माननीय न्यायालय स्वत: संज्ञान ले और ऐसे प्रशासन के पीछे के शासन तक की मंशा की जाँच करवाकर, उचित दंडात्मक कार्रवाई करे। ऐसे आदेश सामाजिक अपराध हैं, जो सौहार्द के शांतिपूर्ण वातावरण को बिगाड़ना चाहते… pic.twitter.com/nRb4hOYAjP
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) July 18, 2024
टीएमसी सांसद ने भी की शिकायत
वहीं, टीएमसी सांसद साकेत गोखले ने मुजफ्फरनगर पुलिस के खिलाफ NHRC से शिकायत दर्ज कराई। उन्होंने मुजफ्फरनगर एसएसपी पर मुसलमानों के साथ भेदभाव करने का आरोप लगाया है।