फतेहपुर: जनपद में बिजलीकर्मियों की हड़ताल से उद्योमियों को बड़ा आर्थिक नुकसान हुआ है। हालांकि, जिलाधिकारी श्रुति (DM SHRUTI) ने औद्योगिक क्षेत्र पहुंचकर बिजली आपूर्ति शुरू कराई और उद्यमियों को आश्वासन दिया।
दरअसल, बिजलीकर्मियों
की हड़ताल के चलते आपूर्ति व्यवस्था लड़खड़ा गई है। ऐसे में इकाइयों में हो रहा
उत्पादन भी प्रभावित हुआ, जो सामान
डिलीवरी होना था, वह भी नहीं हो
पाया। बिजलीकर्मियों की हड़ताल से उद्यमियों के बीच गहरी नाराजगी है। उद्यमियों ने
ऐसी हड़ताल पर नाराजगी जताई है। जनपद में मलवां औद्योगिक क्षेत्र से लेकर
चौडगरा और औग, थरियांव, जगतसारांय में
औद्योगिक इकाइयां लगी हैं। यहां से रोजमर्रा की चीजों से लेकर धातु और अन्य सामान
गैर प्रांतों और विदेशों तक भेजा जाता है, लेकिन हड़ताल के
कारण बिजली आपूर्ति बाधित हुई तो उद्यमियों को लाखों का नुकसान हो गया।
उद्यमी अमित गुप्ता को हुआ करीब 20 लाख का नुकसान
लघु उद्योग भारती के जिलाध्यक्ष सतेंद्र सिंह ने बताया कि हड़ताल की वजह से कई उद्यमियों को समस्या का सामना करना पड़ा है। बिजली व्यवस्था लड़खड़ाने से इकाइयों का उत्पादन प्रभावित हुआ। ऐसे में जिन उद्यमियों को ऑर्डर मिले थे, उन्हें रद्द करने पड़े या फिर आधा अधूरा पूरा करना पड़ा। खुद उनकी फैक्ट्री में भी बिजली नहीं है। वहीं, लघु उद्योग भारती के महासचिव अमित गुप्ता ने बताया कि पिछले 72 घंटे में केवल 10 घंटे ही बिजली मिली है। ऐसे में काफी समय तक बिजली न होने से उनका लगभग 20 लाख रुपये का नुकसान हुआ है। साथ ही उत्पादन प्रभावित होने और ऑर्डर पर आपूर्ति न कर पाने से उनकी इकाई का नाम भी खराब हुआ है।
हालांकि, डीएम श्रुति ने औद्योगिक क्षेत्र का जायजा लिया और मौके पर आपूर्ति सही कराई। इसके लिए उन्हें धन्यवाद। कोषाध्यक्ष उदय भान साहू ने बताया कि फीडर एक से उनका बिजली कनेक्शन है, लेकिन हड़ताल की वजह से उनकी फैक्ट्री बंद है। ऐसे में मजदूरों को घर बैठे वेतन देने के साथ ही जो ऑर्डर मिले वह भी पूरे नहीं हुए। हालांकि, उद्यमी आनंद गुप्ता ने बताया कि उनके यहां हड़ताल का कोई असर नहीं हुआ और बिजली आपूर्ति लगातार जारी रही। उनका कनेक्शन 33000 मेन फीडर से है। अभी भी बिजली है और उनकी इकाई चल रही है। उद्यमी फारूक अहमद ने बताया कि उनके यहां आपूर्ति बरकार है, ऐसे में उनकी इकाई चल रही है। उपाध्यक्ष भूपेंद्र उमराव ने बताया कि सिंगल लाइन होने के कारण उनकी इकाई में बिजली फॉल्ट नहीं हुआ। ऐसे में उनकी इकाई चलती रहीं और उन्हें हड़ताल का दंश नहीं झेलना पड़ा।
हड़ताल को लेकर उद्यमियों ने जताई नाराजगी
उद्यमी निर्मल शंकर गुप्ता ने बताया कि बिजली आपूर्ति न
होने के कारण उन्हें भारी नुकसान हुआ है। चावल बनाने के लिए धान की प्रक्रिया शुरू
हुई, लेकिन तभी बिजली
चली गई। तब से लेकर अभी तक बार-बार ट्रिपिंग हो रही है। ऐसे में उनका करीब दो लाख रुपये
का धान बर्बाद हो गया है। उद्यमी ने हड़ताल करने वाले बिजलीकर्मी और अधिकारियों के
खिलाफ गहरी नाराजगी जताई है।
लउभा उपाध्यक्ष वीरेंद्र सिंह ने बताया कि हड़ताल के चलते
उन्हें करीब 10 लाख रुपये का
आर्थिक नुकसान हुआ है। उनकी पाथा राइस मिल में बिजली आपूर्ति बदहाल है, ऐसे में उन्हें मिले ऑर्डर रद्द करने पड़े। श्यामा मोटर्स
के एमडी वीरेंद्र सिंह के अनुसार, बिजली न आने से
मजबूरी में जनरेटर के जरिए कार्य करना पड़ रहा है। ऐसे में न केवल आर्थिक हानि हुई
बल्कि ध्वनि प्रदूषण भी हुआ।
दोपहर एक बजे डीएम-एसपी पहुंचे औद्योगिक क्षेत्र
डीएम श्रुति और एसपी राजेश कुमार सिंह दोपहर करीब एक बजे
मलवां औद्योगिक क्षेत्र जा पहुंचे। यहां पर बिजली आपूर्ति को देखा और जहां पर
आपूर्ति बाधित हुई उसे सही कराया। साथ ही कुछ फीडर में बिजली आपूर्ति न होने के
कारण संबंधित को निर्देशित करते हुए सही करने का आदेश दिया। डीएम-एसपी करीब 30 मिनट तक
औद्योगिक क्षेत्र में घूम-घूम कर जायजा लेते रहे। इसके बाद वह जिला मुख्यालय की ओर
निकल गए।
"बिजलीकर्मियों की
हड़ताल की वजह से औद्योगिक क्षेत्र प्रभावित हुए हैं, इकाइयों से उत्पादन ठप हुआ है। यहां कार्य करने वाले
कर्मचारी बूंद-बूंद पानी के लिए तरस रहे हैं। ऐसे में सरकार और जिला प्रशासन से
अपील है कि सबंधित को निर्देशित करें, जिससे बिजली
व्यवस्था सही से चल सके। डीएम श्रुति ने औद्योगिक क्षेत्र का दौरा किया और बिजली
आपूर्ति को तत्काल शुरू कराया। इसके लिए उन्हें धन्यवाद। हालांकि, कुछ स्थानों पर अभी भी स्थिति गड़बड़ है।"
सतेंद्र सिंह, अध्यक्ष
लउभा, फतेहपुर।