लखनऊ: चीन के उत्पादों को हमने अपने मार्केट से बहुत दूर कर दिया है। यही हमारे एमएसएमई यूनिट्स की ताकत का परिणाम है। इससे बड़ा राष्ट्रवाद क्या हो सकता है, अगर हमारे घर का उत्पाद मार्केट में छा रहा है तो हमें भी उसे प्रोत्साहित करना होगा, प्रेरित करके प्लेटफॉर्म उपलब्ध कराना होगा। ये कितनी खुशी की बात है कि हमारा उत्पाद मार्केट में छा रहा है और दुश्मन देश का उत्पाद मार्केट से दूर होता जा रहा है। आज दीपावली, विजयदशमी, ईद और क्रिसमस पर यूपी के उत्पाद ही मार्केट में देखने को मिल रहे हैं। हमारा उत्पाद अच्छा तो होता ही है, साथ ही हमारे उद्यमियों और कारीगरों को भी लगता है कि उनका भविष्य उज्ज्वल है। ये बातें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को लोकभवन सभागार में आयोजित कार्यक्रम के दौरान कही।
₹30,826 करोड़ का मेगा ऋण वितरण
इस दौरान उनहोंने एमएसएमई क्षेत्र के लिए ₹30,826 करोड़ का मेगा ऋण वितरण किया। साथ ही उन्नाव में स्वीकृत प्लेज पार्क के विकासकर्ताओं को सीएम योगी ने चेक वितरित किया। वहीं उन्होंने औद्योगिक आस्थानों में भूखंडों के आवंटन के लिए ऑनलाइन पोर्टल का भी शुभारंभ किया। सीएम योगी ने इस अवसर पर ओडीओपी एवं विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना के अंतर्गत टूलकिट वितरित किया।
मार्केट की संपूर्ण मैपिंग कराए विभाग
अपने संबोधन में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि एमएसएमई विभाग को मार्केट की संपूर्ण मैपिंग कराते हुए डिमांड के अनुसार प्रोडक्ट उपलब्ध कराने पर विशेष जोर देना होगा। इसके साथ ही प्रोडक्ट की पैकेजिंग पर भी खास ध्यान देना होगा। अगर हमने ये काम कर लिया तो प्रदेश के स्थानीय उत्पादों को पूरे देश में छाने में बहुत देर नहीं लगेगी। उन्होने एमएसएमई उद्यमियों से भी अपील की कि रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया के साथ तेजी से जुड़ें, जिससे सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम से जुड़े उद्यमियों की ट्रेनिंग की प्रक्रिया को तेजी से आगे बढ़ाया जा सके।
आर्थिक प्रगति के साथ ही युवाओं को मिल रहा रोजगार
मुख्यमंत्री ने बताया कि वित्तीय वर्ष 2023-24 के समापन के पहले एमएसएमई विभाग की ओर से लोन वितरण के विभिन्न कार्यक्रम हुए हैं। सीएम ने प्रसन्नता व्यक्त की कि इस वर्ष वितरित की गई राशि गत वर्ष की तुलना में दोगुना और बीते सात साल की अपेक्षा 10 गुना बढ़ी है। उन्होंने कहा कि यह प्रगति यूपी के आर्थिक उन्नयन को तो प्रदर्शित करता ही है साथ ही युवाओं को रोजगार भी प्रदान कर रहा है। सीएम योगी ने बताया कि प्लेज पार्क से प्रदेश के 10 जनपद जुड़ चुके हैं। उन्नाव में बन रहे प्रदेश के 11वें प्लेज पार्क के लिए आज चेक वितरित हुआ है। मुख्यमंत्री ने कहा कि एमएसएमई विभाग पिछले सात साल में प्रदेश के सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम के उद्यमियों के लिए नई आशा की किरण बनकर उभरा है। अपने अभिनव प्रयोग ओर नवाचार के कारण पीएम मोदी के आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्य को प्राप्त करने में तेजी से आगे बढ़ा है।
अनलिमिटेड पोटेंशियल वाले राज्य को बीमारू बनाकर रखा गया
मुख्यमंत्री ने कहा कि यह नये भारत का नया उत्तर प्रदेश है। इसे लेकर बनी पुरानी धरणा को हमने अपने सामर्थ्य से बदला है। आज हमारा हर सेक्टर सभी को उत्तर दे रहा है। यूपी पहले भी अनलिमिटिेड पोटेंशियल वाला राज्य था, मगर कुछ लोगों ने इसे बीमारू बना रखा था। हमने इसे राष्ट्रनिर्माण के अभियान के साथ जोड़कर युवाओं और उद्यमियों के डेवलपमेंट के पथ पर अग्रसर किया है। आज इसका परिणाम देखने को मिल रहा है। यूपी देश का अकेला राज्य है जहां युवा उद्यमियों को बिना ब्याज के पांच लाख का ऋण देने का काम हो रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के 96 लाख एमएसएमई यूनिट्स में से 40 लाख का रजिस्ट्रेशन हो चुका है। हमारा लक्ष्य जल्द से जल्द सभी 96 लाख को रजिस्टर्ड कराना है।
यूपी में बड़े उद्योगों के लिए बेहतर माहौल है
सीएम ने कहा कि हमारे पास मजबूत एमएसएमई बेस है, सुरक्षा का माहौल है और पर्याप्त लैंडबैंक है। ऐसे में यहां बड़े उद्योग के लिए बेहतर माहौल बन चुका है। इसकी झलक हमें यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के जरिए यूपी को प्राप्त हुए ₹40 लाख करोड़ के निवेश प्रस्ताव में दिखता है। यही नहीं हाल ही में ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी के जरिए ₹10 लाख करोड़ के निवेश को हमने धरातल पर उतारा है। मुख्यमंत्री ने प्रदेश के विकास में योगदान देने के लिए डिस्ट्रिक्ट लेवल और स्टेट लेवल बैंकर्स की भी सराहना की।
मैन्यूफैक्चरिंग सेक्टर को और अधिक मजबूती प्रदान करना होगा
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिस स्पीड से यूपी चल रहा है उसे थोड़ा और पुशअप कर दें तो आने वाले पांच साल में हमें 1 ट्रलियन डॉलर इकोनॉमी बनने में कोई रोक नहीं सकता। सीएम ने कहा कि हमें मैन्यूफैक्चरिंग सेक्टर को और अधिक मजबूती प्रदान करना होगा। उन्होंने बताया कि पहले निवेश एनसीआर में होता था। नोएडा, ग्रेटर नोएडा, मेरठ और हापुड़ में निवेश होता था। अब यह काम उन्नाव, हरदोई, जैसे छोटे जिलों में बड़ी संख्या में निवेश हो रहे हैं। ये दिखाता है कि हमारे पास पहले भी पोटेंशियल था, मगर उसका उपयोग नहीं किया गया।